विद्या भारती पूर्व छात्र परिषद सम्मेलन
झारखंड। विद्या भारती के अखिल भारतीय मंत्री ब्रह्माजी राव ने कहा कि विद्या भारती का कार्य समाज आधारित है, जहां का समाज सबल और सुदृढ़ होगा, वह राष्ट्र स्वाभाविक रूप से सबल होगा।
श्रीकृष्ण चंद्र गांधी शैक्षिक नगर में आयोजित विद्या भारती के पूर्व छात्र परिषद सम्मेलन में मा. डॉ. कृष्णगोपाल जी सह सरकार्यवाह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का विशेष सान्निध्य प्राप्त हुआ।
अखिल भारतीय मंत्री श्री ब्रह्माजी राव ने अपने उदबोधन कहा कि किसी भी राष्ट्र का मूल्यांकन वहां के समाज को देखकर किया जा सकता है। उसी प्रकार विद्या भारती का मूल्यांकन यहां के पूर्व छात्रों की जीवन शैली है। हमारे लिए महत्वपूर्ण विषय यह है कि हमारा पूर्व-छात्र अपना व्यक्तिगत एवं परिवारिक जीवन किस प्रकार व्यतीत करते हुए समाज के अभावग्रस्त व्यक्ति को स्वावलंबी बनाकर राष्ट्र की मुख्यधारा से जोड़ने में सहयोगी सिद्ध हो रहा है। पंचपदी शिक्षा पद्धति के आधार पर जो शिक्षा दी गई है उसके माध्यम से पूर्व छात्र की दृष्टि भावी पीढ़ी के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। विद्यालय समिति, पूर्व छात्र एवं प्रधानाचार्य विद्या भारती के लक्ष्य के अनुरूप मिलकर काम करेंगे तो निश्चित ही भावी पीढ़ी का सर्वांगीण विकास संभव हो पाएगा तथा हम राष्ट्र को सबल एवं सुदृढ़ बनाने में सफल हो सकेंगे। विद्या भारती उत्तर पूर्व क्षेत्र के क्षेत्रीय मंत्री राम अवतार नरसरिया ने कहा कि विद्या भारती के पंचप्राण में छात्र/पूर्व छात्र, आचार्य/प्रधानाचार्य, अभिभावक, समिति सदस्य एवं समाज के शुभेच्छुक लोग हैं और उनके समन्वय से ही शिक्षा के क्षेत्र में विकास संभव है। ये पंचप्राण मिलकर राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को प्रभावी बनाने का काम करेंगे, ऐसी अपेक्षा है। इस अवसर पर क्षेत्रीय संगठन मंत्री ख्यालीराम, प्रदेश सचिव अजय कुमार तिवारी, सतिश्वर प्रसाद सिन्हा, पूरे झारखंड से आए समिति के पदाधिकारी, प्रधानाचार्य एवं पूर्व छात्र संयोजक, प्राचार्य डॉ रामकेश पाण्डेय, फणीन्द्र नाथ, विभाग निरीक्षक राँची, आदि उपस्थित रहे। संचालन जितेन्द्र कुमार तिवारी प्रधानाचार्य ने किया।
इस सम्मेलन में 1100 पूर्व छात्रों की सहभागिता रही।