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कंप्यूटर विज्ञान/आईटी पर कार्यशाला

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Workshop on Computer Science/IT
Workshop on Computer Science/IT

भारतीय ज्ञान प्रणाली के आलोक में कंप्यूटर विज्ञान/आईटी पर कार्यशाला

भौतिकवादी विकास के लिए मूल्य आधारित शिक्षा मॉडल अपनाएं- प्रो. रेड्डी 

कुरुक्षेत्र। कंप्यूटर एप्लीकेशन विभाग एनआईटी कुरुक्षेत्र और विद्या भारती उच्च शिक्षा संस्थान नोएडा ने संयुक्त रूप से एनईपी 2020 और भारतीय ज्ञान प्रणाली के आलोक में कंप्यूटर विज्ञान / आईटी पर 25-26 मई 2022 को दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन किया। उद्घाटन सत्र में एनआईटी कुरुक्षेत्र के निदेशक प्रो. बी.वी. रमण रेड्डी ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति सतत विकास पर आधारित होनी चाहिए। हमें अपने प्राचीन ज्ञान को फिर से देखना होगा और यह पता लगाना होगा कि यह सतत विकास के लिए किसी भी तकनीकी क्षेत्र की उन्नति में कैसे मदद कर सकता है। प्रो. रेड्डी ने भौतिकवादी विकास के लिए परिणाम आधारित शिक्षा मॉडल के बजाय मूल्य आधारित शिक्षा मॉडल पर जोर दिया।

कार्यशाला के पहले सत्र में जेएनयू दिल्ली के प्रोफेसर गिरीश नाथ झा ने पाणिनि के व्याकरण और कंप्यूटर विज्ञान पर विचार रखे। दूसरे सत्र में कंप्यूटर शिक्षा में नई शिक्षा नीति की भूमिका की जानकारी प्रोफेसर आशुतोष कुमार सिंह, प्रमुख कंप्यूटर अनुप्रयोग विभाग ने दी। तीसरा सत्र कंप्यूटर विज्ञान की पुस्तकों में आईकेएस को अपनाना विषय पर केंद्रित था जिस पर डॉ. ललित मोहन गोयल, वाईएमसीए फरीदाबाद ने विचार रखे। 

दूसरे दिन कार्यशाला में गणितज्ञ और शैक्षिक प्रौद्योगिकीविद् डॉ. अपर्णा लालिंगकारा ने कंप्यूटर साइंस की बुक्स को अपडेट करने की आवश्यकता पर जोर दिया। डॉ. गजेंद्र प्रताप सिंह एसोसिएट प्रोफेसर, जेएनयू दिल्ली ने पिंगला प्रणाली और आधुनिक प्रणालियों के बीच अंतर पर विचार रखे और कहा कि कैसे पिंगला प्रणाली को समझने का प्रयास कंप्यूटरों में भारतीय वैदिक गणित के विकास को गति प्रदान कर सकता है। अनिरुद्ध सिंघल, रोबोटिक इंजीनियर, टीसीएस ने बताया कि कैसे वैदिक दर्शन नई दुनिया की समस्या को हल करने में मदद कर सकता है। उन्होंने कहा कि जहां द्विगुणित तर्क अब मान्य नहीं है तो इस तरह की समस्याओं की जांच के लिए वैदिक तर्क प्रणाली यानि ट्रिवैल्यूड या मल्टीवैल्यूड का उपयोग कैसे किया जा सकता है।

ओपन हाउस डिस्कशन की अध्यक्षता एनआईटी जालंधर के निदेशक प्रो बिनोद कुमार कनौजिया ने की। कार्यक्रम में प्रो. अखिलेश स्वरूप, प्रो. सतहंस, डीन अकादमिक, प्रो. एसएम गुप्ता डीन आईआईआर, एनआईटी कुरुक्षेत्र, डॉ. संदीप सूद, डॉ. अरविंद शर्मा, डॉ. गौरव सैनी, डॉ. सारिका जैन, डॉ. कपिल, डॉ. लोकेश जिंदल, जेएनयू दिल्ली, डॉ. नीलम डबास दिल्ली विश्वविद्यालय, संकाय सदस्य, स्कूल शिक्षक और शोधार्थी आदि प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।

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